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राजस्थान SI भर्ती परीक्षा 2021 रद्द: हाईकोर्ट का बड़ा फैसला

जयपुर: राजस्थान में पुलिस सब-इंस्पेक्टर (SI) भर्ती परीक्षा 2021 को रद्द करने का महत्वपूर्ण फैसला लिया गया है। राजस्थान हाईकोर्ट ने पेपर लीक प्रकरण को लेकर यह ऐतिहासिक निर्णय सुनाया है। जस्टिस समीर जैन की एकलपीठ ने लंबी सुनवाई के बाद यह फैसला दिया, जिसके तहत 2021 में आयोजित SI भर्ती परीक्षा को पूरी तरह रद्द कर दिया गया है।

पेपर लीक प्रकरण और याचिका

यह मामला तब सुर्खियों में आया जब SI भर्ती परीक्षा 2021 में पेपर लीक के गंभीर आरोप सामने आए। इस प्रकरण की जांच राजस्थान पुलिस की स्पेशल ऑपरेशन ग्रुप (SOG) कर रही है, जिसने अब तक 120 लोगों को गिरफ्तार किया है, जिसमें 54 सब-इंस्पेक्टर और राजस्थान लोक सेवा आयोग (RPSC) के एक निलंबित सदस्य बाबूलाल कटारा शामिल हैं।

कैलाश चंद शर्मा सहित अन्य याचिकाकर्ताओं ने हाईकोर्ट में याचिका दायर कर भर्ती परीक्षा को रद्द करने की मांग की थी। याचिकाकर्ताओं का तर्क था कि पेपर लीक के कारण भर्ती प्रक्रिया की निष्पक्षता पर सवाल उठ गए हैं, और यह सुनिश्चित करना आवश्यक है कि केवल योग्य और ईमानदार उम्मीदवारों का चयन हो। अदालत ने इस मामले में कई सुनवाई कीं और सभी पक्षों के तर्कों को सुनने के बाद 14 अगस्त 2025 को फैसला सुरक्षित रख लिया था।

हाईकोर्ट का फैसला और टिप्पणियां

जस्टिस समीर जैन ने अपने फैसले में भर्ती प्रक्रिया की विश्वसनीयता पर सवाल उठाए। कोर्ट ने कहा कि पेपर लीक जैसे गंभीर मामले में जनता को उन थानेदारों के भरोसे नहीं छोड़ा जा सकता, जो अनुचित साधनों से चयनित हुए हों। कोर्ट ने यह भी टिप्पणी की कि RPSC की कार्यप्रणाली में खामियां उजागर हुई हैं, और इस तरह की घटनाएं भविष्य में दोबारा न हों, इसके लिए कड़े कदम उठाए जाने चाहिए।

हाईकोर्ट ने पहले इस मामले में सरकार और RPSC को कड़ी फटकार लगाई थी, जिसमें जस्टिस जैन ने कहा था, “RPSC का कोई धणी-धोरी है क्या? इस तरह की चोरी किसी भी परीक्षा में हो सकती है।” इसके अलावा, कोर्ट ने जांच में शामिल प्रवर्तन निदेशालय (ED) को भी पक्षकार बनाया था, ताकि मामले की गहराई से जांच हो सके।

भर्ती रद्द होने का प्रभाव

SI भर्ती परीक्षा 2021 में 859 पदों के लिए विज्ञापन 3 फरवरी 2021 को जारी किया गया था। इस भर्ती में शामिल कई उम्मीदवारों ने मेहनत और मेरिट के आधार पर परीक्षा पास की थी, लेकिन पेपर लीक के कारण पूरी प्रक्रिया संदेह के घेरे में आ गई। कोर्ट के इस फैसले से उन उम्मीदवारों को निराशा हो सकती है, जिन्होंने निष्पक्ष तरीके से परीक्षा दी थी। हालांकि, याचिकाकर्ताओं का कहना था कि दोषियों को दंडित करने के साथ-साथ भर्ती प्रक्रिया को बचाने का प्रयास किया जाना चाहिए।

SOG की जांच और अब तक की कार्रवाई

SOG की जांच में कई चौंकाने वाले खुलासे हुए हैं। जांच में पाया गया कि एक नेटवर्क, जिसमें RPSC के सदस्य, कोचिंग माफिया और कुछ अधिकारियों की मिलीभगत थी, ने इस पेपर लीक को अंजाम दिया। हाल ही में एक हेड कांस्टेबल राजकुमार यादव और उनके बेटे भरत यादव को भी इस मामले में गिरफ्तार किया गया। राजकुमार ने कथित तौर पर कम से कम तीन उम्मीदवारों को लीक हुआ पेपर उपलब्ध कराया था।

भविष्य के लिए सबक

हाईकोर्ट के इस फैसले ने न केवल SI भर्ती 2021 को रद्द किया, बल्कि भविष्य में ऐसी घटनाओं को रोकने के लिए सख्त कदम उठाने की आवश्यकता पर भी जोर दिया। RPSC ने पहले ही भर्ती परीक्षाओं में अनुचित साधनों को रोकने के लिए सख्त पहचान प्रक्रियाएं और प्रश्नपत्रों की सुरक्षा के लिए नए उपाय लागू करने की घोषणा की है।

यह फैसला राजस्थान में भर्ती प्रक्रियाओं की पारदर्शिता और निष्पक्षता को सुनिश्चित करने की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम माना जा रहा है। उम्मीद है कि भविष्य में ऐसी घटनाएं दोबारा न हों और योग्य उम्मीदवारों को बिना किसी विवाद के अवसर मिल सकें।

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