नोखा (बीकानेर): ट्रक की टक्कर से बिजली पोल टेढ़ा, बिजली गुल, कई घरों के उपकरण जले

नोखा | बीकानेर जिले के नोखा कस्बे के वार्ड नंबर 29 में गुरुवार को एक सड़क हादसे ने स्थानीय लोगों की परेशानियां बढ़ा दीं। एक ट्रक ने रिवर्स करते समय 11 हजार वोल्ट की हाई-वोल्टेज बिजली लाइन के पोल को जोरदार टक्कर मार दी, जिससे पोल टेढ़ा होकर झूल गया। इस हादसे के कारण क्षेत्र में बिजली आपूर्ति ठप हो गई और कई घरों के विद्युत उपकरण जल गए। गनीमत रही कि कोई जनहानि नहीं हुई। स्थानीय पार्षद अंकित तोषनीवाल ने इस घटना की जानकारी दी और बिजली विभाग से तत्काल कार्रवाई की मांग की।


हादसे का ब्यौरा

घटना 10 जुलाई 2025 को नोखा के वार्ड नंबर 29 में हुई। एक ट्रक चालक ने वाहन को पीछे लेते समय लापरवाही बरती, जिसके कारण ट्रक सड़क किनारे लगे 11 हजार वोल्ट के बिजली पोल से टकरा गया। टक्कर इतनी जोरदार थी कि पोल टेढ़ा हो गया और उससे जुड़े तारों में खराबी आ गई। नतीजतन, वार्ड नंबर 29 और आसपास के क्षेत्रों में बिजली आपूर्ति तुरंत बंद हो गई।

  • बिजली आपूर्ति ठप: हादसे के बाद कई घंटों तक बिजली बहाल नहीं हो सकी, जिससे स्थानीय निवासियों को अंधेरे और गर्मी में परेशानी का सामना करना पड़ा।
  • उपकरणों को नुकसान: अचानक बिजली कटने और संभावित वोल्टेज उतार-चढ़ाव के कारण कई घरों में टीवी, फ्रिज, इनवर्टर, और अन्य विद्युत उपकरण जल गए। इससे निवासियों को आर्थिक नुकसान हुआ।
  • जनहानि टली: हादसे के समय पोल के पास कोई व्यक्ति या वाहन नहीं था, जिससे बड़ा हादसा टल गया।

स्थानीय लोगों का गुस्सा

हादसे के बाद वार्ड नंबर 29 के निवासियों में बिजली विभाग और ट्रक चालक की लापरवाही को लेकर गुस्सा देखा गया। लोगों ने बताया कि क्षेत्र में बिजली के पोल और तार पहले से ही जर्जर हालत में हैं, और इस तरह की घटनाएं बार-बार हो रही हैं।

  • पार्षद की मांग: वार्ड नंबर 29 के पार्षद अंकित तोषनीवाल ने बताया कि टक्कर के कारण पोल टेढ़ा होने से बिजली आपूर्ति बाधित हुई, जिससे निवासियों को भारी असुविधा हुई। उन्होंने बिजली विभाग से तत्काल पोल की मरम्मत और प्रभावित लोगों को उनके जले हुए उपकरणों का मुआवजा देने की मांग की।
  • निवासियों की शिकायत: स्थानीय लोगों ने कहा कि बिजली गुल होने से रात में अंधेरा छा गया, जिससे बच्चों और बुजुर्गों को खास परेशानी हुई। गर्मी के मौसम में बिना बिजली के रहना मुश्किल हो गया, और कई घरों में इनवर्टर डिस्चार्ज हो गए।

बिजली विभाग और पुलिस की प्रतिक्रिया

हादसे की सूचना मिलते ही बिजली विभाग की टीम और नोखा पुलिस मौके पर पहुंची। सुरक्षा के लिए प्रभावित क्षेत्र की बिजली आपूर्ति पूरी तरह बंद कर दी गई।

  • बिजली विभाग: अधिकारियों ने बताया कि टेढ़े पोल की मरम्मत और तारों की जांच का काम शुरू कर दिया गया है। हालांकि, मरम्मत में समय लगने के कारण बिजली बहाली में देरी हुई।
  • पुलिस कार्रवाई: नोखा पुलिस ने ट्रक चालक के खिलाफ लापरवाही से वाहन चलाने का मामला दर्ज करने की प्रक्रिया शुरू की। ट्रक को जब्त कर लिया गया है, और चालक से पूछताछ की जा रही है।

पिछली घटनाएं और सबक

बीकानेर में इस तरह के हादसे पहले भी हो चुके हैं:

  • फरवरी 2025 में नोखा के माहेश्वरी भवन के पास एक ट्रक ने बिजली पोल को टक्कर मार दी थी, जिससे पोल टूट गया और 8 घंटे तक बिजली बाधित रही।
  • अन्य राज्यों में भी इसी तरह की घटनाएं सामने आई हैं, जैसे नवंबर 2024 में मध्य प्रदेश के पांढुर्णा में एक ट्रक की टक्कर से बिजली पोल क्षतिग्रस्त हुआ था।

ये घटनाएं जर्जर बिजली ढांचे और भारी वाहनों की लापरवाह ड्राइविंग की समस्या को उजागर करती हैं।


चुनौतियां और समाधान

  • जर्जर बिजली ढांचा: नोखा और बीकानेर के कई क्षेत्रों में बिजली के पोल और तार पुराने हैं, जिससे इस तरह के हादसों का खतरा बढ़ता है। बिजली विभाग को इनकी नियमित जांच और मरम्मत करनी चाहिए।
  • लापरवाह ड्राइविंग: ट्रक चालकों की लापरवाही इस हादसे का प्रमुख कारण रही। भारी वाहनों के लिए सख्त नियम और प्रशिक्षण जरूरी है।
  • मुआवजा और त्वरित कार्रवाई: प्रभावित लोगों को उनके जले हुए उपकरणों का मुआवजा तुरंत मिलना चाहिए, और बिजली बहाली में देरी को रोका जाना चाहिए।

जरूरी कदम:

  • बिजली विभाग द्वारा जर्जर पोल और तारों को बदलने के लिए विशेष अभियान।
  • सड़कों पर भारी वाहनों की गति और ड्राइविंग पर सख्त निगरानी।
  • प्रभावित निवासियों के लिए मुआवजा नीति लागू करना।

संपादकीय टिप्पणी

नोखा के वार्ड नंबर 29 में हुआ यह हादसा बिजली विभाग की लापरवाही और सड़क पर भारी वाहनों की लापरवाह ड्राइविंग का नतीजा है। टेढ़ा हुआ बिजली पोल और बिजली आपूर्ति का ठप होना स्थानीय लोगों के लिए परेशानी का सबब बना। यह घटना बुनियादी ढांचे की मजबूती और सड़क सुरक्षा के महत्व को रेखांकित करती है। बिजली विभाग को तत्काल मरम्मत और मुआवजा सुनिश्चित करना चाहिए, जबकि पुलिस को ट्रक चालक की लापरवाही पर सख्त कार्रवाई करनी चाहिए। भविष्य में ऐसी घटनाओं को रोकने के लिए ठोस कदम उठाए जाने की जरूरत है।

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