श्रीगंगानगर में नशा विरोधी अभियान में बड़ी कार्रवाई, महिला गिरफ्तार

श्रीगंगानगर। श्रीगंगानगर पुलिस ने नशा मुक्ति के लिए चलाए जा रहे विशेष अभियान में एक महत्वपूर्ण सफलता हासिल की है। सादुलशहर क्षेत्र में पुलिस ने पंजाब निवासी एक महिला को 4.06 किलोग्राम गांजा के साथ हिरासत में लिया, जो क्षेत्र में नशीले पदार्थों की तस्करी के खिलाफ कड़ी कार्रवाई का प्रतीक है। यह अभियान जिला पुलिस अधीक्षक डॉ. अमृता दुहन के कुशल नेतृत्व में ‘सीमा संकल्प’ नामक विशेष ऑपरेशन के तहत संपन्न हुआ, जो राज्य की सीमावर्ती क्षेत्रों में नशे के खिलाफ सख्त रुख को दर्शाता है।

कार्रवाई का विवरण

सादुलशहर थाना प्रभारी सुमेर सिंह के नेतृत्व में गठित विशेष पुलिस टीम ने सुबह की शुरुआत में सूचना के आधार पर त्वरित छापेमारी की। टीम ने एसडीएस पुलिया सड़क पर एक सुनियोजित दबिश दी, जहां आरोपी गीता (26 वर्ष), जो मूल रूप से जालंधर, पंजाब की रहने वाली हैं, को पकड़ा गया। जांच में पता चला कि गीता वर्तमान में वेरका मिल्क प्लांट के समीप स्थित न्यू इंदिरा कॉलोनी में किराए के मकान में रह रही थी। उसके पास से बरामद 4.06 किलोग्राम गांजा की मात्रा को देखते हुए यह स्पष्ट है कि यह एक बड़े नशे के रैकेट का हिस्सा हो सकता है, जिसकी गहराई से जांच जारी है।

कानूनी कार्रवाई और जांच

पुलिस ने इस मामले में तत्काल प्रभाव से एनडीपीएस (नारकोटिक ड्रग्स एंड साइकोट्रोपिक सब्सटेंसेस) अधिनियम, 1985 के तहत प्रकरण दर्ज किया है। आरोपी गीता को हिरासत में लेकर पूछताछ शुरू कर दी गई है, ताकि नशे की आपूर्ति श्रृंखला और उसके संभावित सहयोगियों का पता लगाया जा सके। जिला पुलिस अधीक्षक डॉ. अमृता दुहन ने इस कार्रवाई को एक चेतावनी बताते हुए कहा कि सीमावर्ती क्षेत्रों में नशे की तस्करी को रोकने के लिए पुलिस पूरी तरह प्रतिबद्ध है। आगे की जांच के लिए लालगढ़ थाना प्रभारी संजय सिंह को यह मामला सौंपा गया है, जो इस रैकेट के पीछे के नेटवर्क को उजागर करने के लिए दिन-रात मेहनत कर रहे हैं।

स्थानीय प्रभाव और प्रतिक्रिया

इस कार्रवाई से स्थानीय निवासियों में राहत की लहर है, क्योंकि नशे का प्रकोप क्षेत्र के युवाओं के लिए एक गंभीर चुनौती बनता जा रहा था। सादुलशहर के कई सामाजिक कार्यकर्ताओं ने पुलिस की इस पहल की सराहना की और मांग की कि इस तरह की कार्रवाइयों को और तेज किया जाए। क्षेत्र के वरिष्ठ नागरिकों का कहना है कि नशे की तस्करी पर लगाम लगाने से न केवल अपराध दर कम होगी, बल्कि युवाओं को सही दिशा में ले जाने में भी मदद मिलेगी। पुलिस ने आश्वासन दिया है कि यह अभियान निरंतर जारी रहेगा और किसी भी कीमत पर नशे के व्यापार को जड़ से खत्म करने का प्रयास किया जाएगा।